@HansrajMeena
चुनाव आयोग ने बुलाया तो था EVM को हैक करके दिखाने के लिए। तब सबकी फट गई। भाई तुझे तो जाना चाहिए था अपनी बात को सिद्ध करने के लिए या पप्पू साइंटिस्ट को जाना चाहिए था या AAP के उस वैज्ञानिक को भेज देते जिसने दिल्ली विधानसभा EVM को हैक करके दिखाया था।
@realwajidkhan
अरे बेवकूफ ये उस समय पैदा हुए थे जब अंबेडकर ने कहा था कि अगर देश को बांट रहे हो तो सारे शांतिदूतों को पाकिस्तान भेजो, पर गाँधी और नेहरू नहीं माने।
शांतिदूत आज भी 8 से 18 बच्चे पैदा कर रहे हैं।
@JaikyYadav16
जितने ओबीसी तू लिस्ट में दिखा रहा है वे सब टीम में अपनी मेहनत से पहुंचे है, आरक्षण के आधार के सहारे नहीं।
अगर क्रिकेट/खेल में आरक्षण होता तो भ्रष्ट लालू का भ्रष्ट पुत्र भारतीय टीम का कप्तान बन गया होता और जिससे मेरे गांव की टीम भी नहीं हारती।
@OfficeofVidrohi
@myogiadityanath
मुक़दमे को विद्रोही जी के अनुसार ही चलाया जाए, इन्होंने इनवेस्टिगेशन कर ली है। अच्छा होगा अगर इन्हें जज ही बना दिया जाए। वैसे योगी जी मरणासन्न घायल से मिलने गए थे किसी के परिवार से नहीं।
@ActivistSandeep
सबका हिसाब करते करते पेशाब निकल जायेगा भोंदू।
कितनी नई टीम बनाओगे पप्पू के लिए।
एक कहावत है:
मरे हुए की गां_ में हींग लगाने से वो जिंदा नहीं हो जाता।
@iamAKstalin
अरे मुल्ला प्रेमी! इस लिस्ट को छापने से पहले यह तो चेक कर लेता कि इनमें से बहुतों का काला इतिहास है। डॉ अंबेडकर की किताब– पाकिस्तान या भारत का विभाजन– पढ़ ले। खिलाफत आन्दोलन के समय गांधी ने अ'ल्लाह के कई बंदों को यह कर फंसा लिया कि भारत को एक साल में आजाद करा दूंगा।
इन बंदों का
@vinodkapri
Isreal has stood up.
इस्राइल हमास को खत्म करने पर आमादा है। अपनी सुरक्षा करना उसका अधिकार है। अगर फिलिस्तीनी उसका समर्थन करेंगे तो चपेट में आयेंगे ही। फिलिस्तीन ने अपने घर में हमास को पाल ही क्यों रखा है? इसका कारण है मुस्लिम ब्रदरहूड और इसके अनुसार तू काफ़िर है।
@shadab_chouhan1
Yes, they are united by namaz and namaz only.
बकौल आसमानी किताब एक मोमिन काफ़िर का दोस्त नहीं हो सकता.
इस सच्चाई को डॉ अंबेडकर ने आजादी से पहले ही पहचान लिया था लेकिन यही बात कुछ "भाई चारा" सिंड्रोम से ग्रसित नेताओं को आज तक समझ नहीं आयी।
@MrHaque_
अरे एक्सीडेंटल जन्नोलिस्ट
पिछले 75 साल में मुज्लिम की संख्या साढ़े छह गुना बढ़ी।
हिंदुओं की संख्या साढ़े तीन गुना बढ़ी।
अब आया एजेंडा समझ में। दा’रुल इ$लाम बनाना है भारत को। ग’ज़वा ए हिंद की तैयारी है।
दा’रुल उ’लूम भी समर्थन में खड़ा है।
@PriyanshuVoice
चारा चोर चारा ‘खाने’ के जुर्म में सजा पाने के बाद भी कोर्ट की मेहरबानी से छुट्टा घूम रहा है। सर्टिफाइड चोर को चोर कहना कब से जुर्म हो गया।चोर अगर चुनाव रैली में भाषण दे सकता है तो जेल में सजा क्यों नहीं काट सकता?
@highcourtallad
ये यादव वंश के शासनकाल में हुई भर्तियों का ही कमाल है। ऐसे नमूनों की बिहार में हुई शिक्षक भर्ती में भी कमी नहीं है। आखिर अध्यापक भी तो उतने ही ज्ञानवान होंगे जितना उन्हें भर्ती करने वाला तेजस्वी।
@Pawankhera
कितना ही चाट ले, लोकसभा सीट जीत नहीं सकता और राज्यसभा सीट मिलनी नहीं है। मां राज्य सभा चली गई, बेटी भी राज्य सभा ही जायेगी। आगे वाड्रा भी जायेगा। गाली वाली बाई से भी कड़ी टक्कर है।
@rajnishradu
इस महिला को एक वीडियो में:
कह रही थी कि गरीब हूं, पति दो साल पहले छोड़ कर चला गया। पर खुद को सात महीने की गर्भवती बता रही थी।
समझ में नहीं आता कि कौन सी बात सही मानें?
@SujataIndia1st
कांग्रेस सरकार हो या मान सरकार, पंजाब में ड्रग्स हमेशा आती रही हैं लेकिन शायद कभी भी नहीं पकड़ी गई। गुजरात में आती हैं तो पकड़ी जाती हैं।
इस तलवा चाटनी को ड्रग पकड़े जाने से दर्द हो रहा है। ड्रग न पकड़ा जाना सरकार की उपलब्धि है। पंजाब में ड्रग जाती कहां है?
दिल्ली में दारू
@jpsin1
@DST72836922
यही तो भारत की धर्मनिरपेक्षता है। संविधान के अनुसार सब धर्म बराबर हैं। क’लमा कहीं भी पढ़ा जा सकता है, लेकिन जय श्री राम बोलना धर्मनिरपेक्षता के खिलाफ है।
हिंदू धर्म ग्रंथों और देवी–देवताओं को जब चाहे गा’ली दी जा सकती है लेकिन खुलेआम का’फिरों का क’त्ल करने का हुक्म देने वाली
@Profdilipmandal
तालाब, खेत, फसल और कुआ केवल ठाकुरों का ही नहीं था। OBCs और 'मनोज झा' के भी अपने अपने तालाब, खेत, फसल और कुए थे। ओमप्रकाश जी को केवल ठाकुर दिखाई दिया। वास्तविकता ये है OBC ने भी SC/ST पर खूब अत्याचार किए हैं। दूसरी ओर SC/ST ऐक्ट के सबसे ज्यादा फर्जी मुक़दमे OBC के खिलाफ ही हैं।
@BeingMR_
मां बोफोर्स में कमीशन खाती थी, बेटा मौज करता था।
मां क्वात्रोची को चुपचाप देश से भगाती थी, बेटा मौज करता था।
मां भोपाल गैस कांड वाले एंडरसन को चुपचाप देश से भगाती थी, बेटा मौज करता था।
मां 2G में कमीशन खाती थी, बेटा मौज करता था।
मां कॉमनवेल्थ गेम्स में कमीशन खाती थी, बेटा मौज
@kunal492001
अनपढ़ प्रधानमंत्री एक पप्पू (सीनियर वाला) या अय्याश प्रधानमंत्री से बेहतर होता है। तथाकथित पढ़े हुए प्रधानमंत्रियों ने या तो देश को लूटा या लुटने दिया है। एक पढ़े लिखे PM को एक अनपढ़ औरत 10 साल तक बेवकूफ़ (चू....) बनाती रही और बंदा मुँह भी नहीं खोल पाया।
@BeingMR_
सूअर तो देखा होगा। हमेशा कीचड़ में पड़ा रहता है। 10-12 बच्चे पैदा करता है। चार चार पीढियां एक साथ इसी काम में लगी रहती हैं।
मैं चार पैर वाले की बात कर रहा हूं। दो पैर वाले को बुरा नहीं लगना चाहिए।
@JaikyYadav16
राजकुमार राव से प्रभावित होने में कोई समस्या किसी को नहीं होनी चाहिए लेकिन तेजस्वी यादव उसी लूट के माल से पला है जो लालू यादव ने लूटा और जिसके कारण सज़ा पाई।
एक जातिवादी ही तेजस्वी यादव या अखिलेश यादव से प्रभावित हो सकता है या वो व्यक्ति जो नेता बनने के लिए किसी का भी कुछ भी
@ssrajputINC
अरे सुरेंद्र!
जिस सिस्टम की सहायता से केजरीवाल की अस्थाई जमानत कराई है, उसी से हेमंत की जमानत कराता।
केजरीवाल ज्यादा लाडला है, इसलिए उसकी जमानत कराली और बेचारे हेमंत को छोड़ दिया।
@jpsin1
@Sawanpanchal11
पप्पू और पिंकी का दर्द भी यही है। दोनों ने बचपन से देखा है कि भारत तो हमारी बपौती है।
हर जगह हमारी सरकार होती थी, हम ही पीएम होते थे बाकि सब तलवा चट्टे होते थे। मुख्यमंत्री नौकरों की तरह सलाम करने आते थे। उन्हें जब चाहे तब टूथब्रश की तरह बदल दिया जाता था, अपने हों या विपक्ष के।
@ssukhdev737
सरदार जी राजस्थान में रहते तो, दिल्ली में नहीं। आप 1984 में शायद पैदा भी नहीं हुए थे। अगर उस समय दिल्ली में होते तो निपटा दिए गए होते। 1984 के पीड़ितों से पूछो, ये solution कहां से आया?
@suryapsingh_IAS
अच्छी बात है पर ये बता कि मुलायम के परिवार को किस आधार पर बुलाया जाए?
कारसेवकों की हत्या कराने की खुशी में?
सोनिया गांधी या उसके मंदबुद्धि को किस आधार पर बुलाया जाए?
राम के अस्तित्व को नकारने की खुशी में?
केजरीवाल को इसलिए बुला लें कि वो यहां अस्पताल बनाना चाहता था ताकि
@PriyanshuVoice
राजस्थान के मुख्यमंत्री का क्या नाम है? बिहार में तो जंगलराज है ही। जहां लालू जैसा डाकू खुलेआम घूम रहा है, उसे जंगलराज नहीं तो क्या रामराज्य कहेंगे?
@Jeetuburdak
अब लगभग हर पारिवारिक पार्टी ने अपने अपने चरण चाटूओं के लिए फ्रेश तलवे उपलब्ध करा दिए हैं।
चरण चाटू जल्दी से नए तलवे चाट कर राजनीतिक लाभ उठा सकते हैं।
@jpsin1
ये तर्क बिल्कुल ऐसे हैं जैसे कि देश को आजादी गांधी और नेहरू ने दी। 1947 के आसपास दक्षिण कोरिया, म्यांमार, इंडोनेशिया, श्री लंका आजाद हुए बिना चरखा चलाए। चीन का नाम भी जोड़ सकते हैं।
@NargisBano70
अब केवल हाथ लगाने से प्रॉब्लम हो रही है। 7 अक्टूबर को क्या क्या हुआ, शायद देखा नहीं! अब इस्राइल आतंकियों को मिट्टी में मिला रहा है तो धार्मिक victim कार्ड निकाल लिया।
@sumit_k_nayak
इसे चुनाव आयोग जाना चाहिए, वहां बात न बने तो सुप्रीम कोर्ट जाना चाहिए। लेकिन जायेगा कोई नहीं, वीडियो बना कर अपनी पप्पू भक्ति सिद्ध करेंगे। बटन से हैक हो सकती है तो करके दिखा दे।
@surya_samajwadi
रैना कहता है.....
सचिन तेंदुलकर कहता है.....
जडेजा कहता है.....
तो सूर्या को कहना चाहिए.. कि वो यादव है।
लेकिन वो ऐसा कुछ नहीं बोल रहा।
बस जातिवादी चिल्लाए जा रहे हैं।
@DrRituSingh_
अब यह लगभग साफ हो गया है कि ये ड्रामा भी एकदम लक्ष्मण यादव वाले केस जैसा ही है। वेतन सरकार से लेंगे लेकिन पढ़ने के स्थान पर करेंगे राजनीति। ड्रामा सफल नहीं होगा तो जाति वाला विक्टिम कार्ड तैयार है।
धरनाजीवियों को हटाने के लिए उस जगह पर पानी भरना तो एक पुराना तरीका है। इस तरह से
@kamaalrkhan
तू इनमें से कौन है?
कोई भी हो, अब तू ट्राई करके देख ले।
तू उनकी पुरखों की औलाद है जिन्होंने अरबों, मुगलों, तुर्कों, खिलजियों, तुगलकों, लोदियों, अफगानों के डर से सलवार पहन ली।
@JaikyYadav16
पत्रिका ने शमी की उपलब्धि को न लिखकर गलती की है। लेकिन जातिवादी पत्रिका से भी आगे निकल गए। अगर कोहली और श्रेयस शतक न बनाते और स्कोर 300 भी न होता तो क्या होता?
@BhanuNand
@arungovil12
इस संविधान को सौ से ज्यादा बार बदला गया। इंदिरा ने धज्जियाँ उड़ा दी थी, राजीव ने धज्जियाँ थी। शाहबानो के लिए तो तू नहीं रोया। अब क्यों रो रहा है? "धज्जियाँ" की जगह सही शब्द कुछ और होना चाहिए, लिख दूंगा तो दहाड़ मारकर रोएगा।
@WasimAkramTyagi
यह गलत क्या कह रहा है? डॉ अंबेडकर ने बटवारे से पहले ही गांधी और उसके चेले नेहरू को आगाह कर दिया था कि अगर धार्मिक आधार पर देश का बटवारा होता है तो सारे शांतिदूतों को उनके नए दारुल इस्लाम में भेजा जाए।
@ShilpiSinghINC
@RahulGandhi
चमचे ही मालिकों के असली दुश्मन हैं। बेचारे जैसे ही मालिकों का गुणगान करते हैं, पब्लिक नेहरू से लेकर पप्पू के काले कारनामों के साथ साथ रंगीन कारनामों का चिट्ठा लेकर आ जाती है।
लगे रहो!
@ssrajputINC
@AninditaB_AB
उबल क्यों रहा है सुरेंद्र! इसमें गलत क्या है? फिरोज गाँधी का धर्म क्या था? पारसी!
राजीव गाँधी का धर्म क्या हुआ? पारसी!
सोनिया गाँधी का धर्म क्या है? ईसाई!
राहुल गाँधी का धर्म क्या हुआ?????
@kunal492001
आपका दिमाग घुटनों में है क्या?
सोनिया गैंग ने गुजरात दंगों में मोदी को फंसाने के लिए गां_ तक का जोर लगाया लेकिन सफल नहीं हुए। कोर्ट ने क्लीन चिट दी। तीस्ता सीतलवाड़ को कौन फंडिंग दे रहा है?
गोधराकांड में लालू ने जांच कराई और शांतिदूतों को क्लीन चिट देने की कोशिश की।
चिदंबरम
@SatyapalmalikG
मैं किसान का बेटा हूं,
इसलिए कोई कानून नहीं मानूंगा।
मैं किसान का बेटा हूं,
इसलिए अपनी सारी वैध– अवैध मांगें
मनवाऊंगा।
मैं किसान का बेटा हूं,
इसलिए अगर मेरी मांगें नहीं मानी तो दिल्ली
जाकर हाईवे कब्जाऊंगा।
मैं किसान का बेटा हूं,
@sunitayadav007
35 साल पहले लालू और मुलायम फटेहाल थे, आज इनके परिवारों पर अरबों की संपति है। कहां से आई? किस व्यवसाय में थे दोनों? दोनों ने जनता को जमकर लूटा है। एक तो कानून के द्वारा डाकू घोषित किया जा चुका है। अदानी उद्योगपति है। 1988 से बिजनेस कर रहा है, 26 साल में 606 वें स्थान पर कैसे
@kunal492001
कांग्रेस के एक नेता का नाम बता दे भाई जिसे फांसी की सजा हुई हो। फांसी छोड़, एक ऐसा नेता बता दे जिसने एक दिन की कालापानी सजा काटी हो। चल इसे भी छोड़ दे, एक ऐसा प्रमुख नेता बता दे जिसने एक लट्ठ भी खाया हो।
@ShivamSanghi12
वीर नेहरू तो नाभा की असली जेल में 12 दिन नहीं काट पाया था। तुरंत वायसरॉय को माफी नामा लिखा।
आश्चर्य की बात यह है कि इसके बाद हमेशा नेहरू को 5– स्टार जेल मिली।
@KraantiKumar
लेखक साहब, मेडिकल र��पोर्ट आ चुकी है। स्वाति के साथ मारपीट सिद्ध हो चुकी है।
अब ऐसा लिखो कि बीजेपी ने मारपीट करके ही स्वाति को शीशमहल भेजा था।
ऐसा लिखना एजेंडे को भी सूट करेगा।
@BajrangPunia
13 महीने तक दिल्ली के बॉर्डर बंद करके लाखों लोगों का रोजगार बर्बाद करने वाले, ईमानदार करदाता की दिनचर्या को दूभर बनाने वाले, आंदोलन के नाम पर युवाओं की बलि चढ़ाने वाले कमीशन खोरों के बारे में भी कुछ लिख दे, सारे लिखवा दे।